न तुझमें गुण है बीवी के
न मुझमें गुण है पति के
उल्टा ही धारा बह रहा है
ये विपरीत नियम गति के
मुझमें नहीं कोई कामदेव
न गुण तुझमें कोई रति के
मुझमें नहीं कोई सत्यवान
न बात तुझमें कोई सती के
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